गुरुवार, जून 05, 2025

वार्षिक संगीतमाला 2024 :Top 25 वल्लो वल्लो महाराजो वल्लो वल्लो

फिल्म संगीत हो , वेब सीरीज या फिर स्वतंत्र संगीत अमित त्रिवेदी अपनी रचनात्मकता श्रोताओं के सामने लाते ही रहे हैं। विगत कुछ सालों में Songs of Love, Songs of Trance, जादू सलोना जैसे स्वतंत्र संगीत से जुड़े एल्बम रचने के बाद 2024 के आखिरी महीनों में उनका नया एल्बम आया Azaad Collab.। इस एल्बम में उन्होंने कई ऐसे गायक गायिकाओं के साथ गीत के वीडियो बनाए जो अक्सर उनकी फिल्मों में बतौर पार्श्व गायक नज़र आते हैं। अमित का कहना था कि उन्होंने Play back singers को इस एल्बम के जरिए Play front करवाया यानी वो सिर्फ सुनाई ही नहीं बल्कि गीत के फिल्मांकन में दिखाई भी देंगे।

 
चौदह गीतों से सजे इसी एल्बम का एक गीत है वल्लो वल्लो जिसे मैने चुना है वार्षिक संगीतमाला की 18 वीं पायदान के लिए। इस गीत को गाया है नीति मोहन और असीस कौर ने। ये वही नीति मोहन हैं जिन्होने गुलज़ार के गीत  जिया जिया रे ( जब तक है जान) से फिल्म जगत में अपनी पहचान बनाई थी। उसके बाद सपना जहां और दिल उड़ जा रे में भी उन्होंने अपनी गायिकी से मुझे प्रभावित किया था  इस गीतमाला में भी  उनका एक गीत प्रथम पाँच में अपनी जगह बनाता हुआ दिख रहा है।

असीस कौर ने तो वैसे बहुतेरे गाने गाए हैं पर मुझे उनका गाया वे कमलेया कमाल लगता हैं। हालांकि फिल्म में श्रेया वाला वर्सन ही इस्तेमाल हुआ। इस गीत को लिखने वाले हैं गीत सागर जो गाहे बगाहे फिल्मी गीतों में अपनी आवाज़ भी देते रहे है और एक रियलिटी शो X  Factor के विजेता भी रह चुके हैं। जावेद अख़्तर साहब के शैदाई हैं और एक रेडियो जॉकी भी हैं। जाहिर है एक अच्छी आवाज़ के मालिक भी होंगे ही। हालांकि मुझे वो एक गायक की तुलना में गीतकार व रेडियो जॉकी के रूप  में  ज्यादा पसंद  आए 

वल्लो वल्लो एक तरह का अभिवादन है कश्मीरी शादी में दूल्हे के लिए। दरअसल ये युगल गीत में दोनों कश्मीरी लड़कियां ये सोच रही हैं कि उनका होने वाला हमसफ़र कैसा होगा? गीत सागर के लिए ये विषय नया था पर उन्होंने इस गीत को दो लड़कियों की बातचीत को उर्दू के शब्दों से इस तरह तराशा कि ये गीत एक अफ़साना सा ही बन गया। 


वल्लो वल्लो महाराजो वल्लो वल्लो,,,
महजबीं हसीन दुल्हन से मिलो
वल्लो वल्लो महाराजो वल्लो वल्लो

होगा कोई माहरु जिसकी मुझे आरज़ू 

होगा कोई माहरु जिसकी मुझे आरज़ू

मेरा दिलदार यार होगा कभी रूबरू
मेरे दिल को भी प्यार होगा कभी हूबहू
वो जिसकी हर अदा पे जाऊँगी क़ुर्बान मैं
वो जिसका इश्क़ बनूँगी वो जिसकी जान मैं
वो जिसके साथ फिरुँगी मैं सदा कूबकू कूबकू

उनकी लिखी कुछ पंक्तियों पर गौर फरमाएं जो मुझे खास तौर पर पसंद आईं.. ध्यान रहे यहां बात होने वाले पतिदेव के व्यक्तित्व की हो रही है

वल्लो वल्लो महाराजो वल्लो वल्लो....
खुरदुरी आवाज़ में ओस  की नमी
जिसको देख देख चले साँस मद्धमी 
जिसका रोब देख के रास्ते खुले
जिसके नैन देख के तड़पे चाँदनी
तड़पे चाँदनी तड़पे चाँदनी

मेरी हस्ती ज़रा चमके किसी जुगनू की तरह

मेरी साँसें सदा महकें नई खुशबू की तरह

किसी तितली की तरह खुश लगे ये जस्तजू जस्तजू

ओह वल्लो वल्लो,,,महजबीं हसीन दुल्हन से मिलो

वल्लो वल्लो महाराजो वल्लो वल्लो


ना जी ना अभी अहर्ताएं और भी हैं और ये तो और ज्यादा जरूरी हैं


किसी ज़ेवर की तरह साथ रखे याद मेरी

किसी बच्चे की तरह ज़िंदगी हो शाद मेरी

मेरे हँसने मेरे रोने से उसे फर्क पड़े

उसे पा कर के लगे ज़िंदगी दिलशाद मेरी

फरियाद मेरी ओ फरियाद मेरी

खुश रहे तू अज़ीज़ा आबाद मेरी

शगुन वाली रात आई, खुशियों के जज़्बात लाई
रौनकें सब साथ लाई, देखो देखो देखो देखो

चाँदनी है दर पे खड़ी, होंठों पे मुस्कान बड़ी

अँखियों में बूँदों की लड़ी, देखो देखो देखो देखो

वल्लो वल्लो ,,,महजबीं हसीन दुल्हन से मिलो ,,,वल्लो वल्लो महाराजो वल्लो वल्लो

अमित त्रिवेदी का संगीत और वाद्य यंत्रों का चुनाव आपको कश्मीर की वादियों में ले जाता है। नीति मोहन और असीस कौर दोनों ही बेहतरीन गायिका हैं और इस गीत में उनकी आवाज और अभिनय दोनों में ही परफेक्ट ट्यूनिंग है। अगर बात कश्मीर की हो तो रबाब का इस्तेमाल तो गीत में होना ही था और उसके साथ बौज़ौकी भी है जिसे तापस रॉय ने हमेशा की तरह बखूबी बजाया है। गीत के बोल, गायिकी और संगीत की जुगलबंदी से ये गीत मन को एक खुशनुमा अहसास से भर देता है। 

गायिकाओं , संगीतकार गीतकार की जोड़ी के साथ इस गीत के वीडियो में कुछ प्यारे बच्चे भी हैं जिनकी वज़ह से वो देखने लायक बन गया है। अमित त्रिवेदी ने भी अपने एक साक्षात्कार में कहा है कि वो इस गीत से एक खास लगाव रखते हैं।  इस गीत को देखिए कहीं आप भी मेरी तरह इसके अनुरागी बन जाएँ 

Related Posts with Thumbnails

0 टिप्पणियाँ:

 

मेरी पसंदीदा किताबें...

सुवर्णलता
Freedom at Midnight
Aapka Bunti
Madhushala
कसप Kasap
Great Expectations
उर्दू की आख़िरी किताब
Shatranj Ke Khiladi
Bakul Katha
Raag Darbari
English, August: An Indian Story
Five Point Someone: What Not to Do at IIT
Mitro Marjani
Jharokhe
Mailaa Aanchal
Mrs Craddock
Mahabhoj
मुझे चाँद चाहिए Mujhe Chand Chahiye
Lolita
The Pakistani Bride: A Novel


Manish Kumar's favorite books »

स्पष्टीकरण

इस चिट्ठे का उद्देश्य अच्छे संगीत और साहित्य एवम्र उनसे जुड़े कुछ पहलुओं को अपने नज़रिए से विश्लेषित कर संगीत प्रेमी पाठकों तक पहुँचाना और लोकप्रिय बनाना है। इसी हेतु चिट्ठे पर संगीत और चित्रों का प्रयोग हुआ है। अगर इस चिट्ठे पर प्रकाशित चित्र, संगीत या अन्य किसी सामग्री से कॉपीराइट का उल्लंघन होता है तो कृपया सूचित करें। आपकी सूचना पर त्वरित कार्यवाही की जाएगी।

एक शाम मेरे नाम Copyright © 2009 Designed by Bie